Thursday 3 December 2015

राम मंदिर का  बनना सिर्फ आस्था का प्रश्न  नहीं वरन राम हमारे जीवन के आधार हैं। राम का चरित्र  हमें    मर्यादित जीवन जीने की कला सिखाती  है। राम राष्ट्र की संजीवनी हैं  जो राष्ट्र को आध्यात्मिक ऊर्जा प्रदान करने एवं  राष्ट्र को सकारात्मक गति प्रदान करने में सहायक होते हैं तथा हमें  सत्मार्ग की ओर ले जाने का कार्य करते हैं।  अतः राम मंदिर का बनना इसलिए भी आवश्यक  है ताकि हम अपने सांस्कृतिक मूल्यो को जीवित रख राष्ट्र में आध्यात्मिक क्रांति लाएं । राम के नैतिक जीवन से राष्ट्र के सांस्कृतिक धरोहरके उत्थान का मार्ग प्रसस्त हो ।  राष्ट्रीय चरित्र  को राम चरित्र  की अविरल धारा से बांधकर हम  अपने सांस्कृतिक धरोहर को जीवित रख सकते है।    

No comments:

Post a Comment